भजन-46
जग में सुंदर में है एक धाम, जिसका श्री
आनंदपुर नाम
पावन धाम -2 पावन धाम, श्री आनंदपुर पावन
धाम
1. आनंद ही आनंद जहाँ पर, प्रेम ना ऊंघता की होली
हर्षित हिया सब देख -2, भक्तन और संतो की टोली
बोलो सब जय सत चित आनंद सिमरे गुरु का नाम
साचा नाम -2 गूरु का नाम जग में ...........................
2. युग- युग रूप अनेक धार के आये भक्त उबारन
इस युग में श्री परमहंस का रूप किया है धारण
द्वापर का कान्हा भी यही है यही है राजा राम
बोलो
राम -2 बोलो शाम -2 जग में सुंदर..........
3. भाग खुला पूरण गुरु पाया, पूरण गुरु का दर्श महान
सतगुरु देव ने कृपा करके, बक्शीं संगत संत महान
दास बना उपकार किया जो पल-2 करूँ प्रणाम
दासन दास का प्रणाम सब संतो को प्रणाम
सतगुरु
देव को प्रणाम जग में सुंदर..........
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