भजन
-38
मुँह फेर जिधर देखूँ, मुझे तू ही नज़र आयें -2
अब छोड़ के दर तेरा, तेरा दास किधर जाये -2
1.
गैरों
ने तो ठुकराया अपने भी बदल गए है -2
हम
साथ चले जिनके वो दूर निकल गए है -2
मैं
तेरे रहम पर हूँ -2 तू बख्शे या ठुकराये
2.
माना
के मैं पापी हूँ मुझे खबर गुनाहों की -2
बस
इतनी सज़ा देना, मुझे
मेरे खताओं की -2
तेरे
दर पे हो सिर मेरा -2, और सांस निकल जाये
3.
हम
खाक नशीनों की क्या खूब तमन्ना है -2
तेरे नाम से
जीना है, तेरे
नाम पे मरना है -2
मरना
हो तो बस तेरी -2, चौखट
पे ही मर जाये
4.
सूरज
और चंदा का आँखो में उजाला है -2
दाता तेरे चरणों में झुकता ये ज़माना है
तेरी
नज़रे कर्म हो तो -2, तेरा
दास भी तर जाये
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