भजन -63
प्रभु चाहिए नजरे रहमत तुम्हारी
निगाहें मोहब्बत का है दिल भिखारी
1. ना परवाह है कष्टों की गर घेरा डाले
किया मैंने जीवन
जो तेरे हवाले
तुम्ही मेरे
रक्षक हो संकट निवारी प्रभु..........
2. दुनिया तेरी राह से भटकाना चाहे
इरादा मेरा मुझको
आगे बढ़ाए
तमन्ना मिलन की
निरंतर है भारी प्रभु..............
3. ये तूफ़ान राहों में मुझे अटकाए
गरजता है बादल
मेरा मन डुलाए
मगर मेरा चलना
रहेगा जारी प्रभु................
4. हर दम ही मांगू मैं भक्ति तुम्हारी
चरणों की प्रीती
सदा सुखकारी
दास ये जाए तुझपे
सदा बलिहारी प्रभु..........
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