भजन
-12
आनंदपुर के सतगुरु की सरकार का, बड़ा आला
दर्जा है दरबार का
खुला फैज है इनके दीदार का, हरे दुःख,
करिश्मा ये अवतार का
1. तू आया तो दुनियां से गम उठ गए
हर एक दिल से रंजो अलम उठ गए
उजाला जादू ज्ञान का जो हुआ, जहाँलत के बिखरे कदम
उठ गए
हुआ
शोर दुनियां में जय कार का बड़ा आला दर्जा है...........
2. तपी, योगी खुशियाँ मनाने लगे
तरानें हकीकत
के गाने लगे
मग्न देवता भी
तेरे ध्यान में, भक्त जन तुझे सर झुकाने लगे
उठा दिल में
जज्बा तेरे प्यार का बड़ा आला दर्जा है...........
3. मन को तरो ताजगी मिल गई
जो गमगिन थे उन्हें ख़ुशी मिल गई
अँधेरा जो छाया था अज्ञान का, तू आया तो रोशनी मिल
गई
करे
क्यों न हम शुक्र सरकार का बड़ा आला दर्जा................
4. फजल कर हमारे दिले राज पर
सवाली खड़े है
तेरे द्वार पर
तेरे दर पे
आये है ऐ सतगुरु, फकत तेरी रहमत के आधार पर
नहीं जोर कोई
गुनाहगार का बड़ा आला....................
5. कर्म होके बन्दा खतावार है
इसे बख्श दो ये गुनाहगार
पलट दीजिये दास के भाग को, ये भी तुम्हारा उपकार है
ब्यान
किस तरह हो चमत्कार का बड़ा आला............
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