भजन –41
रहमत
बरसे भीगे सांगत सारी रहमत बरसे
खुशिया
बरसे भीगे संगत सारी खुशियाँ बरसे
1. सतगुरु की कृपा हम पर हुई है
सबकी झोली आज खुशियों से भरी है
सतगुरु ने रहमत सब पर करी है खुशियाँ बरसे
भीगे..................
2. ऐसा दीवाना है सबको बनाया
भक्ति का जाम है सबको पिलाया
ओ कृपा बरसे भीगे संगत सारी..............
3. आज की घड़ी है भागो वाली
सतगुरु की है शान निराली
रहमत बरसे भीगे संगत सारी............
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