भजन-51
हम तो हमारी मस्ती मे झूमते चले
है
सिया राम कह दिया है जो राह मे
मिले
1. हो चाहे जैसा मौका खायेगे नही
धोखा
पाया है ज्ञान अब हमने गुरुदेव से अनोखा
जो डूबते है डूबे हम तैरते चले
है हम तो...........
2. अलमस्त
है ख़ुशी में कैसे है इसे जीना
यह मौत क्या बला है हमने इसे न
चिन्हा
रस्ता मिला है पक्का अब दौड़ते
चले है हम तो.........
3. ऐलान
कर दिया है दुनिया से हम निराले
शक हो किसी के दिल में आकर के
आजमाले
यह देह हम मुक्कदर को अब सौपते
चले है हम तो.......
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